साक्षात्कार के लिए हिंदी साहित्य से संबंधित महत्वपूर्ण प्रश्न श्रृंखला-3

  साक्षात्कार के लिए हिंदी साहित्य से संबंधित महत्वपूर्ण प्रश्न श्रृंखला-3


प्रश्‍न : समकालीन कविता क्‍या है ?

उत्तर : आठवें नौवे दशक से लेकर अबतक की कविता को समकालिन कविता कहते है। यह अपने समय के प्रति अत्‍यंत सजग है।

प्रश्‍न : समकालीन कविता की प्रवृत्तियाँ क्‍या है ?

उत्तर : व्‍यवस्‍था विरोध, जीवन धर्मिता, जातिवाद विरोध, सम्‍प्रादवाद विरोध, पृथकतावाद का विरोध, नारी प्रेम इत्‍यादि इसकी प्रवृत्तियाँ है।

प्रश्‍न : कुछ प्रमुख समकालीन कवि के नाम बताएँ?

उत्तर : राजेश जोशी, मंगलेश डबराल, अरूण कमल, आलोक धन्‍वा, गोरख पाण्डेय, विष्णु नागर

प्रश्‍न : किसी समकालीन कवि की कविता सुनाएँ?

उत्तर : विष्‍णु नागर

 रोटी का सवाल उठाया जा रहा है।

 लोक सभा में लड़ा जा रहा है

 रोटी का सवाल उलझ गया है

 लोक सभा में सुलझाया जा रहा है

 रोटी का सवाल सुलझ चुका है

 राष्‍ट्र गीत गाया जा रहा है

 राष्‍ट्र गीत गाया जा चुका है

 रोटी का सवाल भुलाया जा रहा है

गोरख पांडेय

    भरूआ वसंत की कुछ पंक्तियाँ

    ग़ुस्से को विदा करो

हाथ जोड़ लो अदब से

सिर झुकाते हुए तालियाँ बजाना सीख लो

तुम अभी तक नाचने-गाने के लिए

तैयार नहीं हुए जबकि मौसम

ख़ून की तरह रंगीन हो रहा है

उठो, वसंत रहा है

अरूण कमल

      सब उधार का

 मांगा सारा नमक,  तेल,  हींग,  हल्‍दी तक सब कर्ज का

    अपना क्‍या  है इस जीवन में

    सब तो लिया उधार

    सारा लोहा उन लोगों का

    अपनी केवल धार

प्रश्‍न : समकालीन हिन्‍दी उपन्‍यास क्‍या है ?

उत्तर : 20वीं शताब्‍दी का उत्तरार्ध असंतोष अविश्‍वास अकेलापन          और परम्‍परागत मूल्‍यों के विखंडित हो जाने के एहसास         का जन्‍म दाता है। यह महानगर के बन्‍द कमरों में कैद          मनुष्‍य की धबराहट को चित्रित करने की कोशिश है।

प्रश्‍न : कुछ समकालीन हिन्‍दी उपन्‍यासकार के नाम बताएँ?

उत्तर : रमेश बक्‍शी   - सफेद मेमने

      मोहन राकेश  -  अंधेरे बंद कमरे

      निर्मल वर्मा   - वे दिन

      रामदरश मिश्रा -  जल टूटता हुआ

प्रश्‍न : किसी समकालीन महिला हिन्‍दी उपन्‍यासकार के नाम बताएँ?

उत्तर : कृष्णा सोबती- सूरजमुखी अंधेरे के

प्रश्‍न : समकालीन कहानी क्‍या है ?

उत्तर : 9 वे दशक से लेकर अब तक की कहानी  को समकालीन          कहानी कहते है।  

प्रश्‍न : समकालीन कहानी की विशेषता क्‍या है ?

उत्तर : जीवन में जटिल और व्यापक यथार्थ की सीधी और बेबाक       अभिव्यक्ति समकालीन कहानी की विशेषता है। इसमें             शिल्प,  भाव बोध और उद्देश्य की नवीनता है, साथ ही          भाषागत नवीनता भी विद्यमान है।

प्रश्‍न : कुछ समकालीन हिन्‍दी कहानीकार के नाम बताएँ?

उत्तर : सृंजय (भोजपुर, बिहार)     -    कामरेड का कोट

  उदय प्रकाश              -   तिरिछ

और अंत में प्रार्थना

मिथिलेश्वर (भोजपुर, बिहार)    बाबूजी

                  जिन्दगी का एक दिन

प्रश्‍न : कुछ समकालीन महिला कहानीकार के नाम एवं उनकी            कहानी के नाम बताएँ?

उत्तर : मृदुला गर्ग      -   कितनी कैदें,

                    टुकड़ा-टुकड़ा आदमी

डैफ़ोडिल जल रहे हैं 

  राजी-सेठ        -  तुम-भी

  निरुपमा सेवती    -   बंटता हुआ आदमी 

 

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